Vol. 37 No. 4 (2013): प्राथमिक शिक्षक
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दो संभावनाएं 

Published 2024-12-23

Keywords

  • महिला शिक्षा,
  • बालिका शिक्षा

How to Cite

शारदाकुमारी . (2024). दो संभावनाएं . प्राथमिक शिक्षक, 37(4), p.15-22. http://14.139.250.109:8090/index.php/pp/article/view/2450

Abstract

आज प्रत्येक लड़की पढ़ना चाहती है, आगे बढ़ना चाहती है। आज हर लड़की का सपना है कि वह आसमान की बुलंदियों को छू ले। लेकिन यह सपना तभी साकार हो सकता है जब कोई उसे समझे, उसके समक्ष कोई मुश्किल है तो उसका सामना करने के लिए उसका साथ दे, उसे हिम्मत बंधाए। उसमें यह विश्वास जगह है कि उसके सपनों का संसार जरूर साकार होगा क्योंकि उसमें असीमित क्षमता है, अपार संभावनाएं हैं। ऐसे ही दो संभावनाओं के बारे में पढ़िए यह लेख।